भारत और नेपाल के बीच दोहरा कराधान समझौता हुआ
नई दिल्ली | केंद्रीय वित्त मंत्री प्रणब मुखर्जी की एक दिवसीय नेपाल यात्रा के दौरान रविवार को भारत और नेपाल दोहरे कराधान निवारण समझौते पर हस्ताक्षर करेंगे। यह दोनों देशों के बीच 1987 में हुए समझौते की जगह लेगा। मुखर्जी और उनके नेपाली समकक्ष बर्षा मान पुन के बीच इस मुलाकात की तैयारी के लिए विदेश सचिव रंजन मथाई शनिवार को ही वहां पहुंच चुके हैं। मथाई ने काठमांडू पहुंचने पर कहा, "मेरी वर्तमान यात्रा कल (रविवार को) हमारे वित्त मंत्री प्रणब मुखर्जी की होने वाली यात्रा की तैयारी के लिए है। भारतीय और नेपाली वित्त मंत्री दोहरे कराधान निवारण समझौते पर हस्ताक्षर करेंगे, जो 1987 में हुए एक समझौते की जगह लेगा।" मथाई यहां नेपाल के प्रधान सचिव माधव घिमिरे से मिलकर पिछले साल नेपाली प्रधानमंत्री बाबूराम भट्टराई की भारत यात्रा के दौरान हुए समझौते पर हुई प्रगति की समीक्षा करेंगे और द्विपक्षीय सम्बंधों को बढ़ाने और मजबूत करने के रास्ते तलाशेंगे। उन्होंने कहा, "दोनों देशों के प्रधानमंत्रियों ने इसके बाद दक्षेस सम्मेलन के दौरान मालदीव में भी मुलाकात की थी और आपसी सम्बंध को और आगे ले जाने के लिए प्रयास करने पर सहमत हुए थे।" नए समझौते हस्ताक्षर के बाद दोनों देशों के कारोबारियों को अपनी सम्पत्ति या किसी सौदे के लिए दोनों देशों को कर नहीं देना होगा।
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