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81 साल बाद आया नेपाल में ऐसा भूकंप, भारत-पाक-बांग्‍लादेश भी हिले

नई दिल्ली/काठमांडू : दिल्ली समेत भारत के कई शहरों और पड़ोसी पाकिस्‍तान, नेपाल, बांग्‍लादेश में शनिवार सुबह भूकंप के दो झटके महसूस किए गए। सबसे पहले 11.41 बजे भूकंप के झटके आए। दूसरी बार 12:19 बजे भूकंप के झटके महसूस किए गए। रिक्‍टर स्‍केल पर इसकी तीव्रता 6 बताई जा रही है। भूकंप का केंद्र नेपाल में काठमांडू से 83 किमी दूर उत्‍तर-पश्चिम में पोखरा में था। वहां भूकंप की तीव्रता 7.5 थी। पाकिस्तान, बांग्‍लादेश में भी भूकंप के झटके महसूस किए गए। नुकसान की खबर केवल नेपाल से ही आ रही है। वहां कई मकान और इमारतें गिर गई हैं। दिल्‍ली और कोलकाता में एहतियातन कुछ देर के लिए मेट्रो ट्रेन सेवा रोक दी गई।

81 साल बाद नेपाल में आया ऐसा भूकंप
हिमालय की गोद में समाया पूरा नेपाल भूकंप के फॉल्ट जोन में है। नेपाल के बीच में से महेंद्र हाईवे फॉल्ट लाइन गुजरती है। यह तराई इलाकों और पहाड़ी इलाकों को क्रॉस करती है। यहां 1934 में सबसे ताकतवर भूकंप आया था। उसकी रिक्टर स्केल पर तीव्रता 8.4 थी। इसी फॉल्ट लाइन के कारण शिलॉन्ग में भी 1897 में 8.5 तीव्रता वाला भूकंप आ चुका है। यह फॉल्ट लाइन उत्तराखंड से आगे दिल्ली तक जाती है। यही वजह है कि नेपाल में भूकंप का केंद्र होने के बाद भी दिल्ली, उत्तर प्रदेश, बिहार, मध्यप्रदेश, छत्तीसगढ़ और पूर्वोत्तर भारत में भी झटके महसूस किए गए।

भारत में कहां-कहां भूकंप
भारत के उत्‍तर प्रदेश, मध्‍य प्रदेश, छत्‍तीसगढ़, बिहार, झारखंड, सिक्किम, दिल्‍ली, पश्चिम बंगाल, चंडीगढ़, जयपुर सहित कई राज्‍यों में भूकंप आए। मौसम विशेषज्ञ एसके शर्मा का कहना है कि भारत में बिहार, प. बंगाल के आसपास के इलाकों में भूकंप सबसे ज्यादा असरदार था। नेपाल में भूकंप ने सबसे ज्यादा तबाही मचाई है।

- Bhaskar

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