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मणिपुर-मिजोरम की रणजी ट्रॉफी मान्यता पर 23 अगस्त को चर्चा करेगा BCCI

बेंगलुरू  : भारत के उत्तर पूर्व क्षेत्र के क्रिकेट प्रेमियों के लिए अच्छी खबर आ सकती है क्योंकि बीसीसीआई 23 अगस्त को बेंगलुरू में बीसीसीआई मान्यता उप समिति की बैठक में मणिपुर और मिजोरम को पूर्ण सदस्यता देने के मुद्दे पर चर्चा की योजना बना रहा है। पता चला है कि मान्यता समिति के समंवयक बीसीसीआई सचिव अनुराग ठाकुर ने इसके सदस्यों गोवा के डा. शेखर साल्कर और विदर्भ के प्रकाश दीक्षित को बेंगलुरू में बैठक के लिए पहुंचने को कहा है। मणिपुर और मिजोरम के अलावा छत्तीसगढ़ को मान्यता के मुद्दे पर भी चर्चा की जाएगी। बिहार को इस दौरान होने वाली चर्चा से बाहर रखा गया है क्योंकि राज्य में क्रिकेट दोबारा शुरू करने के लिए एक तदर्थ समिति का गठन किया गया है और कई गैरमान्यता प्राप्त संघों की मौजूदगी में राज्य में स्थिति भी स्पष्ट नहीं है। 

एक सूत्र ने बताया, मणिपुर एसोसिएट सदस्य है और अब उन्होंेने पूर्ण सदस्यता के लिए अपील की है जिसके कारण वह रणजी ट्राफी में खेल पाएंगे। मिजोरम ने भी कहा है कि वे अच्छा बुनियादी ढांचा विकसित कर सकते हैं। छत्तीसगढ़ के पास पहले ही स्टेडियम है जहां आईपीएल और चैम्पियन्स लीग के मैच हुए हैं। बीसीसीआई सचिव ने उनके आवेदनों की समीक्षा करने का फैसला किया है। इस बीच निरंजन शाह की अगुआई में बीसीसीआई की तदर्थ समिति ने बिहार के मोइन उल हक स्टेडियम का आज दौरा किया और भविष्य की कार्रवाई को लेकर राज्य खेल सचिव विजय कुमार सिंह के साथ चर्चा की। समिति के एक सदस्य ने कहा, मोइन उल हक स्टेडियम को खेलने लायक बनाने के लिए काफी कुछ करना बाकी है। लेकिन इसके लिए मानसून खत्म होने का इंतजार करने की जरूरत है। इसके अलावा पटना में रेलवे स्टेडियम है जहां हम ट्रायल कर सकते हैं। उन्होंने कहा, हमने गया, मधुबनी, और भागलपुर जैसी जगहों पर ओपन ट्रायल कराने की संभावना पर चर्चा की। मुख्य सचिव खेल प्रभारी विजय कुमार सिंह ने कहा कि वह बीसीसीआई को हर संभव सहयोग देंगे।


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