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बिमल गुरुंग ने किया न्यायपालिका पर भरोसा रखते हुए पहाड़ लौटने का एलान, जेल भी जाने को तैयार, ऑडियो टेप जारी



दार्जिलिंग : उच्चतम न्यायालय में सुनवाई पूरी होने के बाद पूर्व गोजमुमो प्रमुख विमल गुरुंग ने ताजा ऑडियो टेप जारी कर न्यायपालिका में आस्था व्यक्त करते हुए शीघ्र न्याय मिलने तथा पहाड़ लौटने का बयान दिया है। जिसका पलटवार करते हुए विनय तामांग ने भी गुरुंग पर निशाना साधा है। टेप के हवाले से बताया गया है कि न्यायालय में बीती 19 फरवरी से लगातार सुनवाई जारी रहने के बाद कोर्ट ने अपना फैसला सुरक्षित रख लिया है। गुरुंग ने जल्द ही फैसला अपने पक्ष में आने के बाद पहाड़ वापस लौटने की बात कही। उन्होंने पहाड़ के लोगों को भरोसा दिलाते हुए कहा कि वो शीघ्र ही न्याय मिलने के बाद अपने लोगों के बीच वापस लौटेंगे। मोर्चा के पूर्व कद्दावर नेता ने निकट भविष्य में न्यायालय का फैसला सार्वजनिक होने की आशा व्यक्त की। उन्होंने दावा किया कि उनके द्वारा किया गया आंदोलन उनका अपना नहीं अपितु पूरे गोरखा समुदाय की थी। उन्होंने कहा कि बंगाल सरकार ने उनके आंदोलन को दबाने की भरसक कोशिश की किंतु वो कामयाब नहीं हो पाएगी।

मोर्चा नेता ने टेप के हवाले से कहा कि अगर जरूरत पड़ी तो वो जेल जाने को भी तैयार हैं। उन्होंने पहाड़ के लोगों से एक होकर तथा शांति बनाए रखने की अपील करते हुए कानून पर भरोसा रखने की बात कही। वहीं गुरुंग के बयान का पलटवार करते हुए वर्तमान गोजमुमो अध्यक्ष विनय तामांग ने कहा कि पहाड़ धीरे धीरे शांति की ओर आगे बढ़ रहा है ऐसे हालातों में गुरुंग का बयान माहौल बिगाड़ सकता है। तामांग ने कहा कि आज गुरुंग जेल जाने की बात कह कर क्या साबित करना चाहते हैं। उन्होंने कहा कि बीते वर्ष 105 दिनों के बंद और हिंसा के घाव और नुकसान से लोगों को उबारने का प्रयास किया जा रहा है ऐसे में टेप द्वारा दूर बैठकर बयानबाजी करना उचित नहीं है। तामांग ने कहा कि गुरुंग ऐसे बयानों के जरिए पहाड़ को एक बार फिर अशांति,हिंसा और आंदोलन की आग में झोंकना चाहते हैं। उन्होंने हमलावर रुख अपनाते हुए कहा कि अगर गुरुंग को जेल ही जाना था तो करोड़ों रुपये खर्च कर सुप्रीम कोर्ट जाने की बजाए विधि अनुसार अपने आप को कानून के हवाले कर देना चाहिए था।

 तामांग ने कहा कि गुरुंग को स्वयं के ऊपर करोड़ो खर्च करने के स्थान पर बीते वर्ष के आंदोलन के बाद जेल में बंद मोर्चा नेताओं की रिहाई तथा उनके परिवारों के ऊपर खर्च करना चाहिए था। तामांग ने गुरुंग पर निशाना साधते हुए कहा कि गुरुंग खुद जेल न जाकर दूसरों को जेल भेजकर सत्ता का सुख प्राप्त करना चाहते हैं। जीटीए प्रशासनिक बोर्ड प्रमुख विनय तामांग ने कहा कि अगर गुरुंग नई दिल्ली में बैठी केंद्र सरकार के साथ मिलकर गोरखालैंड राज्य के सपने को सच कर सकते हैं तो पहाड़ पर उनका भव्य स्वागत किया जाएगा। तामांग ने अब अलग राज्य के नाम पर बंदूक व हिंसा पर केंद्रित आंदोलन का समर्थन न करने का वचन देते हुए पहाड़ को शांत रखने और विकास के प्रयास जारी रखने की बात कही।

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