Header Ads

देहरादून : गोर्खाली सुधार सभा के AGM में ऐतिहासिक फैसला, पदम थापा बने निर्विरोध अध्यक्ष, राजेन-पूजा का भी चुनाव


दीपक राई
वीर गोरखा न्यूज पोर्टल
देहरादून : गोर्खाली सुधार सभा की वार्षिक बैठक में हुए अप्रत्याशित घटनाक्रम में समस्त सदस्यों एवं शाखाध्यक्षों ने निर्विरोध महासचिव पदम सिंह थापा को नया अध्यक्ष चुन लिया। साथ ही वरिष्ठ उपाध्यक्ष के लिए राजेन छेत्री और उपाध्यक्ष के लिए पूजा सुब्बा को भी निर्विरोध चुना गया है। मानेकशॉ सभागार में आयोजित बैठक में सभा के सदस्यगण बड़ी संख्या में मौजूद रहे। अध्यक्ष के लिए पदम के नाम पर एक सुर में समर्थन के बाद लोग उनको बधाई देने के लिए जद्दोजहद करते नजर आए। देश के सबसे पुराने गोरखा समाज की संस्था में से एक गोर्खाली सुधार सभा की 79वीं वार्षिक बैठक का आयोजन किया गया।


बीएस छेत्री ने निर्विरोध चुनाव का किया अनुमोदन
पूर्व अध्यक्ष हो चुके भगवान सिंह छेत्री ने ही बैठक में चुनाव के तरीके पर चल रहे चर्चा के बीच वन मैन वन वोट और प्रतिनिधि वोट के साथ निर्विरोध चुनाव प्रणाली पर आम राय रखने के लिए बैठक में उपस्थित लोगों से आह्वान किया। जिसके बाद लोगों ने एक साथ पदम को अध्यक्ष पद के लिए निर्विरोध चुनने के लिए समर्थन दिया।

निर्विरोध चुनाव को चैलेंज करने के मूड में सारिका प्रधान
सभा की महिला प्रकोष्ठ की अध्यक्ष सारिका प्रधान ने वीर गोरखा से बात करते हुए बताया कि वह इस तरह के अवैधानिक चुनाव का पूरे जोर-शोर से विरोध करेंगी। जल्द ही वह इस मुद्दे पर पत्रकार वार्ता करके पूरे वाक्ये पर खुलासा करते हुए पूरी बात मीडिया के समक्ष सामने रखेंगी।


नम आँखों से विदा हुए अध्यक्ष बीएस छेत्री
रिकॉर्ड चार बार सभा के अध्यक्ष रह चुके भगवान सिंह छेत्री ने पदम थापा, राजेन छेत्री और पूजा सुब्बा के निर्विरोध चुने जाने के बाद सबको बधाई दी। उन्होंने सभी नवनिर्वाचित पदाधिकारियों को समाज के लिए अधिक जिम्मेदारी से काम करने की नसीहत भी दी। इसके बाद वह कुछ क्षणों के लिए रुआंसे हो उठे, उनकी आँखे भर आईं और वह जल्द ही अपनी गाड़ी से नम आँखों के साथ विदा हो गए। हालांकि अभी भी छेत्री बतौर कार्यकारी अध्यक्ष सभा में कुछ दिनों तक पद में बने रहेंगे।


शाखा अध्यक्ष के लिए तय समय पर होंगे चुनाव
चुनाव समिति की प्रमुख और सभा की संरक्षक सुषमा प्रधान ने बताया कि पहले से सुनिश्चित किए गए शाखा अध्यक्षों के चुनाव यथावत समयसीमा में कराए जाएंगे। जिसके लिए नामांकन से जुडी सूचना जारी की जा चुकी है।

महासचिव पद पर महिला पदाधिकारी की हो सकती है एंट्री
सभा के नामित पद के तौर पर महासचिव का पद बहुत महत्वपूर्ण माना जाता है। इस पद पर किसी महिला को लाने की कोशिश की जा रही है।



AGM के दौरान हुआ जमकर वाद-विवाद
सभा की सालाना बैठक के दौरान चुनाव के लिए वन मेन वन वोट और प्रतिनिधि वोट को लेकर जमकर विवाद हुआ। विवाद बढ़ते-बढ़ते एक दूसरे के ऊपर आरोप लगाने तक जा पहुंचा। इसके अलावा संविधान संसोधन 2016 को लेकर भी सदस्य आपस में एक दूसरे से भिड़ते हुए नजर आए।


चुनाव की वैधता को चुनौती देंगे अफसर लॉबी !
अफसर लॉबी के अध्यक्ष बीएस छेत्री की इन तरह की विदाई किसी ने भी नहीं सोची थी। इस पूरे घटनाक्रम से अफसर लॉबी खासी नाराज दिखी। आने वाले समय में छेत्री को आगे कर अफसर लॉबी इस निर्विरोध चुनाव की वैधानिकता को चुनौती देती नजर आ सकती है।


Powered by Blogger.